ChhattisgarhINDIAछत्तीसगढ़देश - विदेशबिलासपुरराजनीतीराज्य एवं शहर

Bilaspur Politics News:– गुटीय राजनीति को हवा देने वाले जिलाध्यक्षों के भरोसे कार्यक्रम की तैयारी, विवादित अध्यक्षों को फिर जिम्मेदारी

Bilaspur Politics News:– नगरीय निकाय चुनाव के दौरान बिलासपुर जिले की राजनीति में जो घटनाक्रम हुए थे, उसकी गूंज अब भी सुनाई दे रही है। टिकट बंटवारे से लेकर चुनावी नतीजों तक कांग्रेस की हालत बिगड़ती चली गई। नगर निगम चुनाव में करारी हार के पीछे जिला कांग्रेस कमेटी अध्यक्ष विजय केशरवानी और शहर अध्यक्ष की भूमिका को सबसे अहम माना जा रहा है।

WhatsApp Channel Join Now
Telegram Channel Join Now

Bilaspur चुनाव के दौरान विधायक और प्रदेश पदाधिकारियों के खिलाफ अनुशासनहीनता का बहाना बनाकर कार्रवाई की गई। इस कदम से पार्टी के भीतर ही असंतोष गहराया और माहौल बिगड़ गया। नतीजा यह हुआ कि कांग्रेस के उम्मीदवारों की जीत की संभावनाएं खत्म होती चली गईं। चुनाव बाद भी जिले की राजनीति में जो कटुता और खाई बनी, वह आज तक जस की तस है। तो सामंजस्य बैठाने का प्रयास हुआ और ही मतभेद मिटाने की कोशिश।

राजनीतिक कटुता का आलम यह रहा कि कोटा विधायक अटल श्रीवास्तव, पीसीसी प्रवक्ता अभयनारायण राय, त्रिलोक श्रीवास और महिला कांग्रेस पदाधिकारी सीमा पांडेय जैसे नेताओं को पार्टी से बाहर कर दिया गया। कांग्रेस संविधान के जानकारों का कहना है कि प्रदेश पदाधिकारियों और विधायकों को बाहर निकालने का अधिकार जिला शहर कांग्रेस कमेटी के पास नहीं है, बावजूद इसके बिलासपुर में ऐसा हुआ।

  सुशासन तिहार के दौरान आयुर्वेदिक अस्पताल से डॉक्टर नदारत

जब विवाद गहराया और मामला पीसीसी तक पहुंचा तो विधायकों और पूर्व विधायकों की कमेटी बनाई गई। पूरी रिपोर्ट पीसीसी को सौंप दी गई, लेकिन आज तक उस पर कोई निर्णय नहीं लिया गया। यही वजह है कि मैदानी कार्यकर्ता और कई पदाधिकारी कल होने वाले कार्यक्रमों की तैयारियों में नजर नहीं आए।

विवादित अध्यक्षों को फिर मिली जिम्मेदारी
नगरीय निकाय चुनाव में विरोधियों को चुनचुनकर पार्टी से बाहर निकालने वाले दोनों जिला अध्यक्षों को एक बार फिर जिम्मेदारी दी गई है। इस फैसले ने जिले की राजनीति में सुगबुगाहट तेज कर दी है और कांग्रेस में गुटीय राजनीति के और गहराने की आशंका खड़ी कर दी है।

Was this article helpful?
YesNo

Live Cricket Info

Kanha Tiwari

छत्तीसगढ़ के जाने-माने वरिष्ठ पत्रकार हैं, जिन्होंने पिछले 10 वर्षों से लोक जन-आवाज को सशक्त बनाते हुए पत्रकारिता की अगुआई की है।

Related Articles

Back to top button