जनप्रतिनिधियों ने जिलाधीश को सौंपा ज्ञापन ।

बिलासपुर ज़िले के विभिन्न तहसीलों से लगातार शिकायतें आ रही है की जो मुस्लिम आज तक अन्य पिछड़ा वर्ग के अंतर्गत आते रहे है वे अपने बच्चों के आगे की पढ़ाई और नौकरी के लिए प्रमाण पत्र बनवाने तहसील कार्यकाल जा रहे है तो तहसीलदार द्वारा एसडीएम साहब प्रमाण पत्र जारी नहीं करते कह कर बगैर प्रकरण को रजिस्टर किए वापस लौटा दिया जा रहा है । प्रदेश के अधिकतर मुस्लिम समाज के लोगों के मिसल जैसे पुराने रिकॉर्ड में जाति के कॉलम में मुसलमान (धर्म) अंकित है । जिस पर शासन द्वारा ग्राम सभा एवं नगरीय निकाय से प्रस्ताव के पश्चात जाति प्रमाण पत्र बनाने की व्यवस्था दी गई थी पर इस मामले में अधिकारियों का रुख और हठधर्मिता देखकर ऐसा लगता है कि वे इस आदेश को मानने के लिए तैयार नही है ।

प्रशासन की इस तानाशाही पूर्ण रवैए से नाराज बिलासपुर एवं अंचल के मुस्लिम जनप्रतिनिधियों ने जिला कलेक्टर बिलासपुर श्री संजय अग्रवाल से मिलकर अपनी मांग रखी । प्रतिनिधिमंडल में शामिल यासीन खान (रतनपुर),सिबली मेराज खान (बिलासपुर) एवं नूर मोहम्मद(सीपत)ने अपनी मांग रखते हुए कहा कि एक ओर अधिकारियों के द्वारा मुस्लिमों को अन्य पिछड़ा वर्ग का प्रमाण पत्र जारी ही नहीं किया रहा वहीं दूसरी ओर जो मुसलमान सामान्य वर्ग में आते है उन्हें भारत सरकार द्वारा प्रदत्त EWS के संवैधानिक अधिकार से वंचित रखा जा रहा है । प्रशासन का यह रवैया बेहद भेदभावपूर्ण एवं निंदनीय है । अगर प्रशासन पूरे मुस्लिम समाज को ही पिछड़ा वर्ग न मानकर सामान्य के अंतर्गत मानती है तो जो मुस्लिम EWS की पात्रता रखते है उसे EWS का प्रमाण पत्र जारी करना चाहिए किंतु ये अधिकारीगण मुस्लिमों को केंद्र एवं राज्य सरकार द्वारा प्रदत्त आरक्षण के किसी भी अधिकार वंचित रखते हुए उनके संवैधानिक अधिकारों का हनन कर रहे है ।
चूंकि अभी स्कूल–कॉलेज में प्रवेश का समय है अतः सभी अभिभावको को अपने बच्चों को उच्च शिक्षा के लिए अन्य पिछड़ा वर्ग एवं EWS प्रमाण पत्र की आवश्यकता है लेकिन सर्टिफ़िकेट बनाने में अधिकारियों की “प्रशासनिक दादागिरी” से मुस्लिम समाज के पात्र हितग्राही व्यथित हैं अतःसभी ने मिलकर इस आवश्यक मुद्दे को जलाधीश के संज्ञान में लाकर अपनी पीड़ा से उन्हें अवगत कराया गया।
जिलाधीश श्री संजय अग्रवाल ने मुस्लिम समाज के प्रतिनिधिमंडल को आश्वस्त किया की इस ओर जल्द ही नियमतः कार्यवाही हेतु निर्देशित किया जाएगा।
मुस्लिम समाज के प्रतिनिधिमंडल ने कहा की व्यवस्था में अगर सुधार नहीं आया तो जल्द ही इस मुद्दे पर समाज की विस्तारित बैठक कर इस पर बड़े आंदोलन की रूपरेखा तैयार की जाएगी और पूरा मुस्लिम समाज इस अति संवेदनशील मुद्दे पर संगठित होकर आंदोलनरत रहने संकल्पित है ।
आज ज्ञापन सौंपने वाले मुस्लिम समाज के प्रतिनिधिमंडल में प्रमुख रूप से सुश्री शहज़ादी क़ुरैशी(पार्षद),समीर अहमद (बबला),शिबली मेराज खान,शेख़ निज़ामुद्दीन(दुलारे) यासीन खान ,नूर मोहम्मद ,फ़ारुख खान,शेरू असलम,आदिल आलम खेरनी,आसिफ़ मेमन,इमरान खोखर,अयाज़ खान,इखलाक खान,मज़हर खान,जीशान खान,काशिफ़ अली,आदिल खान आदि उपस्थित थे ।
